लेखक - मुकेश मिश्रा
बुधन पंडित जी
हमरा गाम में एगो बुधन पंडित जी छला,
बर तमशाह,कुनु धिया -पुता ज कखनो
कीछ कही देलखान,त फेर जुनी पुछु
मुदा तमशाह रहितो ..........
बर नामि छला, सत्यनारायन पूजा, बीभाह,
मुंडन,उपनयन,सब प्रयोजन में हिनका बजयल जात छ्ल, अहि प्रकारे दूर गाम से न्योता ऐलान, जे हमरा बचीयाक
बीभाह थीक से अपने एतिये,
पंडित जी तौयार भेला,और अपना गामक हजमा के सेहो संग ल लेला
दुनु गोटे से पहुचला ओही ठाम,........
धूम-धाम स बिबाहक तैयारी भ रहल छल,
दूर गाम से एला स पंडित जी थाकी गेल छला ,
आराम खातिर कीछ देर दलान पर चली गेला
गामक अगति छोरा जेना,मदन जी, चन्दन जी,
और अपन गाम घर स जुरल चारी पाच गो
अबिबाहित नबयुबक सब पंडित जी लग पहुचल
ओय में से एक जन अपन हाथ आगा बर्बैत,बजला
पंडित जी हमर बिबाह कहिया हेते
अगिला साल भ जेतो जो
ओ हाथ हटलैन की दोसर हाथ पहुचल
पंडित जी हमर बिबाह कहिया हेते
अगिला साल भ जेतो जो
ओ हाथ हटलैन की तेसर हाथ पहुचल
पंडित जी हमर बिबाह कहिया हेते
तोहर अहि साल भ जेतो जो
अहिना एगो हाथ हटें की दोसर,फेर तेसर ,
पंडित जी तबाह भ गेला
तामस आब लगलान,माथ घुरिया लगलेन,
मुदा तामस क बर्दास्त करेत बजलाह
आन गाम आयल छि ,एत कोना ऊट पतांग करब
अहि प्रकारे तामस क बर्दास्त करेत,छोरा सब क
अगिला साल पछिला साल कहैत बिभाहक समाय
दैत जाथिन,अहिना हैत हैत एगो लम्बा चोरा हाथ
पंडित जी के सामने एलैन, पंडित जी जाही ,हाथ पकरला
देखला एगो जनाना कम स कम एक कुंटल बीस किलो क
जनाना हाथ बर्बैत बजली ,पंडित जी हमर बीभाह
कहिया हेते.. पंडित जी क तामस बर्दास्त नै भेलैन ,
पंडित जी झट स उठला आ पट स जनाना क पटैक
छाती पर बैस गेला आर बजला ...............
अय छोरा सब के बिबाह अगिला पिछला साल त
भयै जेतै,मुदा हे मौगी तोहर बिबाह एखने हेतौ
एखने हेतौ तोहर बिबाह , एखने हेतौ तोहर बिबाह
गीतकार- मुकेश मिश्रा
9990379449
अहिना लिखौत रहू,दन दन करौत रहू
जवाब देंहटाएंchandan
ki likhlw h tkr jbab nai
जवाब देंहटाएंrajesh mishra
बुधन पंडित क हिसाब नै
जवाब देंहटाएंमुकेश जी आहा एहेन लरका के जबाब नै
सपना
बर निक मुकेश जी आहा क रानी ,दीपिका ,
जवाब देंहटाएंसोनी ,सुनील ,नितेश प्रिया क तरफ स बहुत
बहुत प्यार
एगो चाँद उपर य दोसर चाँद निचा
जवाब देंहटाएंएक बेर आहा भेटीतऊ मुकेश जी
आछी सोनी क इक्छा
सोनी (मधुवनी मेंहथ)
जान में जान आबी गेल
जवाब देंहटाएंआहा स पहचान बनी गेल ,
रहितौ हमरा ओरा
ल लैतव हम कोरा,
शालू (कोठिया)